Experts views : आम बजट से पहले बाजार में शानदार तेजी देखने को मिली है। बैंकिंग और मेटल इंडेक्स बढ़त के साथ बंद हुए हैं। FMCG, रियल्टी और ऑटो शेयरों में खरीदारी रही। BSE के सभी सेक्टर इंडेक्स में तेजी देखने को मिली। मिडकैप और स्मॉलकैप शेयरों में भी अच्छी तेजी रही। बजट से पहले सभी सेक्टरों में आई खरीदारी के बीच 31 जनवरी को भारतीय बेंचमार्क इंडेक्स लगातार चौथे कारोबारी सत्र में बढ़त के साथ बंद हुए और निफ्टी 23,500 से ऊपर पहुंच गया। कारोबार के अंत में सेंसेक्स 740.76 अंक या 0.97 फीसदी बढ़कर 77,500.57 पर और निफ्टी 258.90 अंक या 1.11 फीसदी बढ़कर 23,508.40 पर बंद हुआ।
एलकेपी सिक्योरिटीज के रूपक डे का कहना है कि निफ्टी ने आज फॉलिंग वेज ब्रेकआउट दिया है। ये शॉर्ट टर्म बुलिश रिवर्सल का संकेत है। इंडेक्स 21-पीरयड ईएमए से भी ऊपर चला गया,जो तेजी की संभावना को और मजबूत करता है। इसके अलावा,वर्तमान आरएसआई रीडिंग भी बाजार में एक मजबूत तेजी आने की ओर इशारा कर रही है। हालांकि, बहुत कुछ इस बात पर निर्भर करेगा कि बजट के दौरान और उसके बाद बाजार किस तरह की प्रतिक्रिया करता है। निफ्टी के लिए 23,300-23,200 पर सपोर्ट है। जबकि 23,600 और 23,800 पर रजिस्टेंस दिख रहा है।
जियोजित फाइनेंशियल सर्विसेज के विनोद नायर का कहना है कि इकोनॉमिक सर्वे से मिले संकेतों से लगता है कि इस बाजार के बजट में राजकोषीय अनुशासन के बनाए रखते हुए ग्रोथ पर फोकस होगा। सकारात्मक ग्लोबल संकेतों और प्रमुख कंपनियों के उम्मीद से बेहतर नतीजों ने भी आज बाजार को ताकत दी है। बाजार को उम्मीद है कि व्यक्तिगत कर में कटौती और रोजगार सृजन से खपत बढ़ेगी। राजकोषीय घाटे में कटौती करके लेकिन बुनियादी ढांचे पर खर्च को बढ़ावा देना जारी रखते हुए सरकार कंसोलीडेशन से गुजर रहे बाजार में रिकवरी का रास्ता खोल सकती है।
इस हफ्ते कैसा रहा बाजार
कोटक सिक्योरिटीज के श्रीकांत चौहान का कहना है कि आज 31 जनवरी को खत्म हुए हफ़्ते में निफ्टी-50 इंडेक्स और सेंसेक्स में 1.6 फीसदी की बढ़त दर्ज की गई। जबकि इस हफ़्ते मिड-कैप इंडेक्स में करीब 0.3 फीसदी की बढ़त दर्ज की गई और स्मॉल-कैप इंडेक्स में करीब 0.7 फीसदी की गिरावट दर्ज की गई। वित्त वर्ष 2026 के यूनियन बजट से पहले सेंटीमेंट सुस्त बने हुए हैं। वित्त वर्ष 2025 की तीसरी तिमाही के नतीजे मोटे तौर पर हमारी उम्मीदों के मुताबिक ही रहे हैं। हालांकि, मैनेजमेंट की टिप्पणियां उत्साहजनक नहीं रहीं हैं,जिससे सेंटीमेंट पर और असर पड़ा है।
सेक्टर के हिसाब से यह हफ्ता मिला-जुला रहा। कैपिटल गुड्स (+3.5%), ऑटो (+3.0%), रियल्टी (+6.2%), FMCG (+0.7%) और पावर (+1.0%) हरे निशान पर बंद हुए। वहीं, IT (-1.9%), कंज्यूमर ड्यूरेबल (-0.9%), मेटल (-0.5%), टेलीकॉम (-2.5%) और फार्मा (-2.3%) में गिरावट देखने को मिली है।
निफ्टी पर नजर डालें तो वीकली बेसिस पर भारत इलेक्ट्रॉनिक्स (+8.2%), हीरो मोटोकॉर्प (+7.9%) और एमएंडएम (+7.4%) में सबसे ज्यादा बढ़त दर्ज की गई,जबकि एचसीएल टेक (-3.9%), सन फार्मा (-3.8%) और टाटा मोटर्स (-3.5%) में सबसे ज्यादा गिरावट दर्ज की गई। पिछले पांच दिनों में एफपीआई नेट सेलर रहे जबकि इसी अवधि में डीआईआई नेट बॉयर रहे।
ग्लोबल मार्केट पर नजर डालें ते अमेरिका में फेडरल रिजर्व ने बुधवार को महंगाई का हवाला देते हुए दरों में कोई बदलाव नहीं किया। ट्रंप ने इस बात की पुष्टि की है कि वे फरवरी से मैक्सिको और कनाडा से होने वाले आयात पर 25 फीसदी टैरिफ लगाएंगे। लेकिन उन्होंने यह भी कहा है कि उनके प्रशासन ने अभी तक यह तय नहीं किया है कि तेल आयात को इसमें शामिल किया जाएगा या नहीं।
यूरोप में,यूरोपीय सेंट्रल बैंक ने गुरुवार को ब्याज दर में 0.25 फीसदी की कटौती की जिससे इसकी मुख्य दर 2.75% हो गई। जर्मन सकल घरेलू उत्पाद में वर्ष की अंतिम तिमाही में 0.2 फीसजदी की गिरावट आई,जबकि इसके औद्योगिक क्षेत्र में लगातार कमजोरी बनी हुई है। एशिया की बात करें तो निवेशक चीन की आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस फर्म डीपसीक पर टिप्पणी पर नज़र रखे हुए हैं जिसने सोमवार को बहुत सस्ते एआई मोड के ऐलान के साथ दुनिया भर के बाजारों को हिला दिया था।
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