Nephro Care IPO Listing: कोलकाता के हॉस्पिटल नेफ्रो केयर इंडिया (Nephro Care India) के शेयरों की आज NSE के SME प्लेटफॉर्म पर धांसू एंट्री हुई। इसके आईपीओ को ओवरऑल 715 गुना से अधिक बोली मिली थी। आईपीओ के तहत 90 रुपये के भाव पर शेयर जारी हुए हैं। आज NSE SME पर इसकी 171 रुपये पर एंट्री हुई है यानी कि आईपीओ निवेशकों को 90 फीसदी का लिस्टिंग गेन (Nephro Care Listing Gain) मिला। लिस्टिंग के बाद शेयर और ऊपर चढ़े। उछलकर यह 179.55 रुपये (Nephro Care Share Price) के अपर सर्किट पर पहुंच गया यानी कि आईपीओ निवेशक अब 80 फीसदी मुनाफे में हैं।
Nephro Care IPO को मिला था तगड़ा रिस्पांस
नेफ्रो केयर का ₹41.26 करोड़ का आईपीओ सब्सक्रिप्शन के लिए 28 जून से 2 जुलाई तक खुला था। इस आईपीओ को निवेशकों का जबरदस्त रिस्पांस मिला था और ओवरऑल यह 715.78 गुना सब्सक्राइब हुआ था। इसमें क्वालिफाइड इंस्टीट्यूशनल बायर्स (QIB) के लिए आरक्षित हिस्सा 245.14 गुना, नॉन-इंस्टीट्यूशनल इनवेस्टर्स (NII) का हिस्सा 1,787.19 गुना और खुदरा निवेशकों का हिस्सा 634.12 गुना भरा था। इस आईपीओ के तहत 10 रुपये की फेस वैल्यू वाले 45.84 लाख नए शेयर जारी हुए हैं। इन शेयरों के जरिए जुटाए गए पैसों का इस्तेमाल कोलकाता में विवासिटी मल्टीस्पेशल्टी हॉस्पिटल के नाम से एक मल्टी-स्पेशल्टी हॉस्पिटल खोलने और आम कॉरपोरेट उद्देश्यों मे होगा।
वर्ष 2014 में बनी नेफ्रो केयर इंडिया कोलकाता में स्थित हॉस्पिटल है। यहां किडनी से जुड़ी बीमारियों का खास ट्रीटमेंट होता है। कंपनी के वित्तीय सेहत की बात करें तो वित्त वर्ष 2021 में इसे 8.87 लाख रुपये का शुद्ध मुनाफा हुआ था। हालांकि अगले वित्त वर्ष 2022 में इसे 98 हजार रुपये का शुद्ध घाटा हुआ लेकिन फिर स्थिति तेजी से सुधारी और वित्त वर्ष 2023 में यह 1.94 करोड़ रुपये के शुद्ध मुनाफे में आ गई। इस दौरान कंपनी का रेवेन्यू सालाना 205 फीसदी से अधिक की चक्रवृद्धि दर (CAGR) से बढ़कर 17.10 करोड़ रुपये पर पहुंच गया। पिछले वित्त वर्ष 2023-24 की बात करें तो अप्रैल-दिसंबर 2023 में इसे 3.40 करोड़ रुपये का शुद्ध मुनाफा और 19.90 करोड़ रुपये का रेवेन्यू हासिल हो चुका है।