Stock market : 10 जून को उतार-चढ़ाव भरे कारोबारी सत्र में भारतीय इक्विटी इंडेक्स गिरावट के साथ बंद हुए और निफ्टी 23,250 से नीचे फिसल गया। सेंसेक्स आज 203.28 अंक या 0.27 फीसदी गिरकर 76,490.08 पर और निफ्टी 31 अंक या 0.13 फीसदी गिरकर 23,259.20 पर बंद हुआ है। आज करीब 2381 शेयरों में तेजी आई है। 1176 शेयरों में गिरावट देखने को मिली है। जबकि, 91 शेयरों में कोई बदलाव नहीं हुआ है। निफ्टी पर सबसे ज्यादा गिरने वाले वाले शेयरों में टेक महिंद्रा, इंफोसिस, विप्रो, एमएंडएम और एलटीआईमाइंडट्री शामिल हैं। वहीं, सबसे ज्यादा बढ़ने वाले शेयरों में अल्ट्राटेक सीमेंट, ग्रासिम इंडस्ट्रीज, हीरो मोटोकॉर्प, सिप्ला और पावर ग्रिड कॉर्प शामिल हैं।
सेक्टोरल इंडेक्सों पर नजर डालें तो आईटी इंडेक्स में 1.5 फीसदी, मेटल में 0.3 फीसदी और तेल एवं गैस में 0.2 फीसदी की गिरावट आई है। जबकि रियल्टी इंडेक्स में 1.3 फीसदी की, हेल्थकेयर में 0.7 फीसदी और पावर में 0.4 फीसदी की तेजी आई है। बीएसई मिडकैप इंडेक्स में 0.5 फीसदी की बढ़त हुई है। जबकि स्मॉलकैप इंडेक्स में 1 फीसदी की बढ़त हुई है।
11 जून को कैसी रह सकती है बाजार की चाल
शेयरखान के टेक्निकल रिसर्च एनालिस्ट जतिन गेडिया ने कहा कि निफ्टी आज बढ़त के साथ खुला और दिन के दौरान कंसोलीडेट होकर 50 अंक नीचे लाल निशान में बंद हुआ। डेली चार्ट पर निफ्टी ने 23412 के नए नए ऑल टाइम हाई को छुआ। पिछले हफ्ते आई 2,000 अंकों की तेजी के बाद यह कंसोलीडेशन का फेज है। ऑवरली मोमेंटम इंडीकेटर ने निगेटिव क्रॉसओवर ट्रिगर कर दिया है जो तेजी थमने का संकेत है। ऐसे में बाजार में शॉर्ट टर्म में कुछ कंसोलीडेशन हो सकता है और निफ्टी अगले कुछ कारोबारी सत्रों में 23160 – 23100 की ओर फिसल सकता है। इन स्तरों पर टिके रहने में विफल होने पर गिरावट 22930 तक बढ़ सकती है। वहीं, ऊपर की ओर 23420 – 23500 पर निफ्टी के लिए तत्काल रजिस्टेंस नजर आ रहा है।
बैंक निफ्टी में तेजी जारी रही और हालांकि इसे 50250 के स्तर पर रजिस्टेंस का सामना करना पड़ा जो 78.6 फीसदी रिट्रेसमेंट लेवल के साथ मेल खाता है। हालांकि इसकी तेजी धीमी पड़ती दिख रही है और अब शॉर्ट टर्म में इसमें भी कंसोलीडेशन देखने को मिल सकता। बैंक निफ्टी के लिए 49320 -49070 पर सपोर्ट है जबकि तत्काल रजिस्टेंस 50250-50350 पर नजर आ रहा है।
बाजार की नजर अब 12 जून को होने वाली दो दिवसीय फेडरल रिजर्व की नीति बैठक तथा आगामी अमेरिकी महंगाई आंकड़ों पर लगी हुई है। इससे ब्याज दरों की भावी दिशा के बारे में अनुमान लागाया जा सकेगा।
फिडेंट एसेट मैनेजमेंट के संस्थापक और सीआईओ ऐश्वर्या दधीच ने कहा कि वे सरकार के शुरुआती 100-दिनों के रोडमैप पर नजर रखेंगे क्योंकि हमारे प्रधानमंत्री कई बड़ी बातें कह रहे हैं। उनमें से कई का संभवतः भारतीय कंपनियों पर प्रभाव पड़ेगा। ग्लोबल महंगाई और ब्याज दर की स्थिति पर भी नजर रहेगी। इसके अलावी अगली तिमाही और मानसून की चाल पर भी नजर रहेगी।
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