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‘ओवरवेट’ रेटिंग के बावजूद अदाणी पोर्ट्स एंड स्पेशल इकनॉमिक जोन के शेयर 18% से ज्यादा लुढ़के

अदानी पोर्ट्स एंड स्पेशल इकनॉमिक जोन (ASPEZ) के शेयरों में 4 जून को तकरीबन 19% तक की गिरावट देखने को मिल रही है। यह गिरावट ऐसे वक्त में देखने को मिल रही है, जब मॉर्गन स्टैनली ने इस स्टॉक को ‘ओवरवेट’ रेटिंग दी है और इसके लिए 1,517 रुपये का टारगेट प्राइस तय किया है। ब्रोकरेज फर्म की यह बुलिश कॉल तब हुई थी, जब कंपनी ने अपने कंसोर्शियम ज्वाइंट वेंचर (EAGL) के जरिये तंजानिया पोर्ट पर कंटेनर टर्मिनल का अधिग्रहण किया था।

नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (NSE) में 4 जून को 1 बजकर 30 मिनट पर कंपनी का शेयर तकरीबन 16 पर्सेंट गिरकर 1634.90 रुपये पर कारोबार कर रहा था। पिछले एक साल में कंपनी के शेयरों में 114 पर्सेंट की तेजी देखने को मिली है।

अदाणी पोर्ट्स की पूर्ण स्वामित्व वाली इकाई अदाणी इंटरनेशनल पोर्ट्स अदाणी इंटरनेशनल पोर्ट्स होल्डिंग प्राइवेट लिमिटेड ने हाल में तंजानिया पोर्ट्स अथॉरिटी के साथ 30 साल का कंसेशन एग्रीमेंट किया था। यह समझौता तंजानिया के एयरपोर्ट के ‘दार एस सलाम’ पोर्ट के काउंटर टर्मिनल 2 को ऑपरेट और मैनेज करने के लिए किया गया है। दार अस सलाम पोर्ट एक गेटवे पोर्ट है, जो सड़कों और रेलवे से काफी बेहतर ढंग से जुड़ा है। ईस्ट अफ्रीका गेटवे लिमिटेड (EAGL) को AIPH, अदाणी पोर्ट्स और ईस्ट हार्बर टर्मिनल्स लिमिटेड के ज्वाइंट वेंचर के तौर पर स्थापित किया गया है। इसमें APSEZ कंट्रोलिंग शेयरहोल्डर है।

भारत की सबसे बड़ी पोर्ट ऑपरेटर है APSEZ

यह भारत की सबसे बड़ी पोर्ट डिवेलपर और ऑपरेटर है। कंपनी के पास पश्चिमी तट पर 7 स्ट्रैटेजिक पोर्ट्स और टर्मिनल्स हैं। इनमें मुंद्रा, टूना, दाहेज, हजीरा, मोर्मुगाव, दिघी और विझिंजम शामिल हैं। पूर्वी तट पर भी 8 टर्मिनल और पोर्ट हैं, इनमें हल्दिया, धामरा, गोपालपुर, गंगावरम, कृष्णापटनम, कट्टुपल्ली, एन्नोर और करईकल शामिल हैं।

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