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Hyundai Motor के शेयरहोल्डर्स को 7 में से 6 प्रस्तावों के खिलाफ वोटिंग करने की सलाह, जानिए क्या है पूरा मामला

एक प्रॉक्सी एडवायजरी फर्म ने ह्यूंडई मोटर इंडिया (एचएमएआई) के शेयरहोल्डर्स को कुल 7 में से 6 प्रस्तावों के खिलाफ वोटिंग करने की सलाह दी है। ये प्रस्ताव रिलेटेड-पार्टी ट्रांजेक्शन (आरपीटी) से जुड़े हैं। एक प्रस्ताव किया इंडिया प्राइवेट लिमिटेड से जुड़ा है। ह्यूंडई कार और एसयूवी बनाने वाली इंडिया की दूसरी सबसे बड़ी कंपनी है। इसने पिछले साल अक्टूबर में 27,870 करोड़ रुपये का आईपीओ पेश किया था। यह इंडिया का सबसे बड़ा आईपीओ है। इससे पहले 2022 में एलआईसी ने 21,000 करोड़ रुपये का आईपीओ पेश किया था।

Hyundai Motor India का एक आरपीटी प्रस्ताव 3,000 करोड़ रुपये का है, जो HEC India से जुड़ा है। एचईसी इंडिया के साफ सिर्फ 11 लाख रुपये का फिक्स्ड एसेट है। एडवाजरी फर्म Stakeholders Empowerment Services (SES) ने 7 में से सिर्फ एक प्रस्ताव के पक्ष में मतदान करने की सलाह शेयरहोल्डर्स को दी है। यह प्रस्ताव एचएमआई की पेरेंट कंपनी Hyundai Motor Company (HMC) से जुड़ा है। वोडिंग की समयसीमा 13 मार्च है। इस मामले में मनीकंट्रोल के सवाल के जवाब में एचएमआई के स्पोक्सपर्सन ने कहा, “हमें SES की सलाह के बारे में जानकारी है। हमारा मानना है कि यह अलग तरह की सलाह है।”

स्पोक्सपर्सन ने कहा, ” दूसरे प्रतिष्ठित एडवायजरी फर्म इंस्टीट्यूशनल इनवेस्टर एडवायजरी सर्विसेज (IiAS) ने एसईएस की सलाह के उलट सलाह पेश की है। इसमें सभी सातों प्रस्तावों के पक्ष में मतदान करने को कहा गया है। उच्च स्तर के कॉर्पोरेट गवर्नेंस को लेकर हमारी प्रतिबद्धता बनी रहेगी। हम सभी शेयरहोल्डर्स के हितों का ख्याल रखते रहेंगे।” उधर, SES ने अपनी एडवाजरी रिपोर्ट में प्रस्तावित आरपीटी के बारे में कहा है, “ऐसे व्यापक रिलेटेड पार्टी ट्रांजेक्शन से जुड़े प्रस्तावों की ध्यानपूर्वक जांच जरूरी है। एसईएस की रिसर्च से पता चलता है कि न तो सही स्क्रूटनी की गई है और न ही सही फैसला लेने के लिए शेयरहोल्डर्स को मामले की पूरी जानकारी दी गई है।”

एसईएस ने कंपनी की ऑडिट कमेटी और बोर्ड के कामकाज पर सवाल उठाए हैं। रिपोर्ट में कहा गया है, “ज्यादा वैल्यू वाली इस तरह के रिलेटेड पार्टी ट्रांजेक्शन के लिए न सिर्फ इनवेस्टर्स और लॉ मेकर्स के एप्रूवल की जरूरत है बल्कि ऑडिट कमेटी का भी एप्रूवल जरूरी है। ऑडिट कमेटी (AC) और बोर्ड को इस तरह के हाई वैल्यू ट्रांजेक्शन को मंजूरी देने में काफी ज्यादा ध्यान देने की जरूरत है। ”

ह्यूंडई मोटर के शेयर 10 मार्च को 2.64 फीसदी गिरकर 1,670 रुपये पर बंद हुए। इस साल यह स्टॉक 7 फीसदी से ज्यादा गिरा है। कंपनी के स्टॉक पिछले साल 22 अक्टूबर को 1,819 रुपये पर लिस्ट हुए थे।

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