प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने फिनेटक कंपनी पेटीएम की पेरेंट कंपनी वन97 कम्युनिकेशंस को दो सब्सिडियरी कंपनियों के अधिग्रहण के संबंध में कंपनी द्वारा कुछ फेमा नियमों के कथित उल्लंघन के लिए नोटिस भेजा है. पेटीएम ब्रांड की मालिक वन97 कम्युनिकेशंस (ओसीएल) ने शेयर बाजार को दी सूचना में कहा कि उसे अपनी सब्सिडियरी कंपनियों- लिटिल इंटरनेट प्राइवेट लिमिटेड और नियरबाय इंडिया प्राइवेट लिमिटेड के लिए 28 फरवरी को प्रवर्तन निदेशालय से फेमा उल्लंघन नोटिस मिला है.
2015 से 2019 तक फेमा उल्लंघन का है मामला
कंपनी ने बताया, “यह कंपनी द्वारा दो सब्सिडियरी कंपनियों लिटिल इंटरनेट प्राइवेट लिमिटेड (एलआईपीएल) और नियरबाय इंडिया प्राइवेट लिमिटेड (एनआईपीएल) के साथ-साथ कुछ निदेशकों और अधिकारियों के अधिग्रहण के संबंध में विदेशी मुद्रा प्रबंधन अधिनियम, 1999 (‘फेमा’) के कुछ प्रावधानों के वर्ष 2015 से 2019 के लिए कथित उल्लंघन के संबंध में है.” सूचना में कहा गया कि यह नोटिस वन97 कम्युनिकेशंस लिमिटेड, इसकी दो अधिग्रहीत अनुषंगी कंपनियों एलआईपीएल और एनआईपीएल, तथा कंपनी और इसकी दो अनुषंगी कंपनियों के कुछ वर्तमान और पूर्व निदेशकों और अधिकारियों को जारी किया गया है.
2017 में दोनों कंपनियों का किया अधिग्रहण
पेटीएम ने कहा कि इस मामले को लागू कानूनों के अनुसार हल करने पर ध्यान केंद्रित किया जा रहा है और इस मामले का पेटीएम की अपने उपभोक्ताओं और व्यापारियों को दी जाने वाली सेवाओं पर कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा तथा सभी सेवाएं हमेशा की तरह पूरी तरह चालू और सुरक्षित हैं. पेटीएम ने दोनों कंपनियों का अधिग्रहण 2017 में किया था. गौरतलब है कि मार्केट रेगुलेटर सेबी ने पिछले पेटीएम मनी के खिलाफ एक निपटान आदेश पारित किया था, जब कंपनी ने विनियामक उल्लंघनों के आरोपों को हल करने के लिए 45.5 लाख रुपये का भुगतान किया था.
निपटान आदेश वित्तीय सेवा फर्म को इस मुद्दे से संबंधित आगे की कानूनी कार्रवाई से बचाता है. यह मामला नियामक के तकनीकी गड़बड़ी ढांचे का अनुपालन न करने पर सेबी द्वारा 24 जुलाई 2024 को पेटीएम मनी को जारी किए गए ‘कारण बताओ नोटिस’ से जुड़ा था.
(भाषा और IANS इनपुट के साथ)
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