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‘स्मॉलकैप और मिडकैप शेयरों से निकाल लें पूरा पैसा’, दिग्गज फंड मैनेजर ने निवेशकों को दी बड़ी चेतावनी

शेयर बाजार में पिछले कुछ महीनों से लगातार गिरावट जारी है। इस बीच ICICI प्रूडेंशियल एएमसी के अनुभवी फंड मैनेजर एस नरेन के एक बयान ने म्यूचुअल फंड इंडस्ट्री में हलचल मचा दी है। उन्होंने निवेशकों को स्मॉलकैप और मिडकैप शेयरों से पूरी तरह से बाहर निकलने की सलाह दी है। एस नरेन ने कहा, “यह स्मॉल और मिडकैप स्टॉक्स से पूरी तरह बाहर निकलने का समय है।” नरेन ने पिछले हफ्ते चेन्नई में म्यूचुअल फंड एसोसिएशन के एक कार्यक्रम ‘IFA Galaxy 2025’ के दौरान ये बातें कहीं।

छोटे निवेशकों के लिए बढ़ा जोखिम

नरेन का कहना है कि पहले जोखिम का एक बड़ा हिस्सा बैंकों और बड़ी फाइनेंशियल कंपनियां के पास होता था, लेकिन अब यह खतरा रिटेल निवेशकों के सिर पर मंडरा रहा है। उन्होंने चेतावानी दी कि 2025 का साल 2008-2010 के बाद का सबसे खतरनाक साल हो सकता है।

उन्होंने कहा, “पहले जब कंपनियों को विस्तार या अधिग्रहण के लिए पूंजी की जरूरत होती थी, तो वे बैंकों से कर्ज लेती थीं। अब वे सीधे निवेशकों से पैसा जुटा रही हैं, चाहे वह QIP (क्वालिफाइड इंस्टीट्यूशनल प्लेसमेंट) हो या IPO (इनीशियल पब्लिक ऑफर)।” इसके कारण रिटेल निवेशकों पर जोखिम का दबाव बढ़ गया है।

उन्होंने आगे कहा कि फंड मैनेजर के पास जिस आधार पर निवेश आता है, वो उसको उसी आधार पर निवेश करते हैं, फिर चाहे वह मिड-कैप हो या स्मॉल-कैप फंड। इसका मतलब यह है कि पहले से ही ऊंचा वैल्यूएशन होने के बावजूद, इस सेगमेंट में नए निवेश जारी हैं, जिसके चलते इक्विटी कैपिटल जुटाने के तरीके में और तेजी आई है।

नरेन ने इस बात पर भी जोर दिया कि बैंक न्यूनतम जोखिम ले रहे हैं, जो उनकी बैलेंस शीट से साफ देखा जा सकता है। उन्होंने कहा, “सारा जोखिम आप जैसे निवेशकों द्वारा उठाया जा रहा है। मुझे नहीं लगता कि निवेशकों या वेल्थ मैनेजरों ने अभी तक इस बात को पूरी तरह से समझा है। यह ऐसी चीज है जिसके बारे में मैं सभी से सोचने का आग्रह करता हूं।”

SIP पर भी उठाए सवाल

इसके अलावा नरेन ने इस दलील को भी चुनौती दी कि SIP (सिस्टमैटिक इन्वेस्टमेंट प्लान) से हमेशा अच्छा रिटर्न मिलता है। उन्होंने कहा कि SIP की रणनीति हमेशा सुरक्षित नहीं होती है। नरेन ने कहा, “SIP तब सबसे अच्छा काम करता है जब बाजार अस्थिर होता है और स्टॉक्स का मूल्यांकन कम होता है। यह एक अहम पहलू है जिस पर म्यूचुअल फंड इंडस्ट्री विचार नहीं कर रहा है। आज स्मॉलकैप और मिडकैप शेयरों का वैल्यूएशन बहुत अधिक है, आप चाहे इसकी जिस तरह से एनालिसिस कर लें।”

उन्होंने 2013-14 के दौर से तुलना करते हुए कहा, “तब ये स्टॉक्स बेहद सस्ते थे, लेकिन अब हालात बिल्कुल उलट हैं। मिडकैप और स्मॉलकैप स्टॉक्स का P/E रेशियो 43x तक पहुंच चुका है, जो बहुत अधिक है।”

बाजार में गिरावट के संकेत

नरेन के अनुसार, “मिड और स्मॉल-कैप शेयरों में गिरावट के शुरुआती संकेत दिखने लगे हैं।” उन्होंने कहा कि कई स्टॉक्स अपने डेली मूविंग एवरेज (DMA) से नीचे आ चुके हैं और बाजार में अधिक लीवरेज (उधारी पर निवेश) निवेशकों के लिए एक बड़ी चुनौती बन सकती है।

उन्होंने निवेशकों को आगाह करते हुए कहा, “अगर आपने 2023 के बाद छोटे और मिडकैप स्टॉक्स में SIP शुरू की है, तो आपको कमजोर रिटर्न मिलने का खतरा अधिक है। 20 साल का SIP (2025 से 2045 तक) लंबी अवधि में ठीक रह सकता है, लेकिन मध्यम अवधि के लिए जोखिम बहुत ज्यादा है।”

हाइब्रिड फंड्स को बताया सुरक्षित विकल्प

नरेन ने निवेशकों को हाइब्रिड फंड्स पर विचार करने की सलाह दी। उन्होंने कहा, “अगर आप बाजार को लेकर उत्साहित हैं, तो इक्विटी-डेट हाइब्रिड फंड्स सही हो सकते हैं। लेकिन अगर आप सतर्क रहना चाहते हैं, तो मल्टी-एसेट फंड्स, खासकर गोल्ड में निवेश वाले विकल्प बेहतर साबित हो सकते हैं।”

डिस्क्लेमरः stock market news पर एक्सपर्ट्स/ब्रोकरेज फर्म्स की ओर से दिए जाने वाले विचार और निवेश सलाह उनके अपने होते हैं, न कि वेबसाइट और उसके मैनेजमेंट के। stock market news यूजर्स को सलाह देता है कि वह कोई भी निवेश निर्णय लेने के पहले सर्टिफाइड एक्सपर्ट से सलाह लें।

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