सरकार यूनियन बजट में नई और रिन्यूएबल एनर्जी के लिए एलोकेशन कम से कम 10,000 करोड़ रुपये बढ़ा सकती है। सरकार का फोकस पीएम सूर्य घर-मुफ्त बिजली योजना पर भी होगा। इस योजना के तहत सरकार आम लोगों की एनर्जी की जरूरतें पूरी करने के लिए सोलर पावर का इस्तेमाल करना चाहती है। सूत्रों ने मनीकंट्रोल को यह जानकारी दी। सरकार ने पिछले साल यूनियन बजट में मिनिस्ट्री ऑफ न्यू एंड रिन्यूएबल एनर्जी (एमएनआरई) को 19,100 करोड़ रुपये का आवंटन किया था।
1 फरवरी, 2025 को यूनियन बजट में सरकार पीएम सूर्य घर, ग्रीन एनर्जी कॉरिडोर, पीएम-कुसुम जैसी स्कीम का दायरा बढ़ा सकती है। एक सीनियर अधिकारी ने नाम जाहिर नहीं करने पर यह जानकारी दी। उन्होंने बताया, “FY25 में 19,100 करोड़ रुपये की जगह नई और रिन्यूएबल एनर्जी सेक्टर के लिए ऐलोकेशन 30,000 करोड़ तक जा सकता है। इस ऐलोकेशन का बड़ा हिस्सा पीएम सूर्य घर मुफ्त बिजली योजना को जाएगा।” उन्होंने बताया कि इसकी वजह यह है कि इस स्कीम को रिकॉर्ड टाइम में पूरा करना है।
सरकार ने पीएम सूर्य घर स्कीम के तहत मार्च 2026 तक 50 लाख सोलर सिस्टम इनस्टॉल करने का टारगेट रखा है। अब तक 7 लाख रूफटॉप इनस्टॉलेशन हो चुका है। इसका मतलब है कि इस प्रोग्राम के लिए जो टारगेट तय किया गया है, उसे पूरा करने के लिए स्कीम की रफ्तार बढ़ानी पड़ेगी। इसके लिए अतिरिक्त बजटीय सहायता की जरूरत पड़ेगी। केंद्र सरकार के कैबिनेट ने 29 फरवरी, 2024 को पीएम सूर्य घर प्रोग्राम को मंजूरी दी थी। इसके लिए 75,021 करोड़ रुपये का आवंटन किया गया है। इसके तहत FY27 तक घरों में एक करोड़ रूफटॉप सोलर इनस्टॉलेशन करना है।
रिन्यूएबल एनर्जी इंडस्ट्री के एक्सपर्ट्स का कहना है कि सरकार ग्रीन एनर्जी कॉरिडोर के तहत नेशनल ग्रिड तक रिन्यूएनबल एनर्जी के ट्रांसफर के लिए ट्रांसमिशन और डिस्ट्रिब्यूशन इंफ्रास्ट्रक्चर बनाना चाहती है। यूनियन बजट 2025 में इस प्रोग्राम के लिए सरकार आवंटन बढ़ा सकती है। सरकार का फोकस रिन्यूएबल एनर्जी पार्क्स पर भी होगा। सरकार ने 2030 तक 500GW की नॉन-फॉसिल आधारित एनर्जी क्षमता बनाना चाहती है। इससे इंडिया क्लीन एनर्जी में ग्लोबल लीडर के रूप में उभर सकता है।
20 जनवरी तक इंडिया में नॉन-फॉसिल फ्यूल आधारित एनर्जी कैपेसिटी 217.62 GW तक पहुंच गई थी। 2024 में 24.5 GW सोलर कैपेसिटी बढ़ाई गई, जबकि 3.4 GW विंड कैपेसिटी बढ़ाई गई। इसमें सरकार की अनुकूल पॉलिसी, इनसेंटिव और इनवेस्टमेंट का बड़ा हाथा है। इंडिया में रिन्यूएनबल एनर्जी की ग्रोथ में सोलर एनर्जी का बड़ा हाथ है।