Upcoming IPO: आईपीओ निवेशकों के लिए जरूरी खबर है। मार्केट रेगुलेटर सेबी ने 6 कंपनियों के आईपीओ को मंजूरी दे दी है। इनमें आईवैल्यू इन्फोसॉल्यूशंस, एथर एनर्जी, ओसवाल पंप्स, क्वालिटी पावर इलेक्ट्रिकल इक्विप्मेंट्स, फैबटेक टेक्नोलॉजीज और श्लॉस बैंगलोर शामिल हैं। सेबी ने 23 दिसंबर को आईवैल्यू इंफोसॉल्यूशंस और एथर एनर्जी के ड्राफ्ट पेपर्स पर ऑब्जर्वेशन लेटर जारी किया है। वहीं, ओसवाल पंप्स को 24 दिसंबर को यह लेटर जारी किया गया।
इसके अलावा, क्वालिटी पावर इलेक्ट्रिकल इक्विपमेंट्स और फैबटेक टेक्नोलॉजीज के आईपीओ पेपर्स पर 27 दिसंबर को और श्लॉस बैंगलोर के आईपीओ पेपर्स पर 26 दिसंबर को ऑब्जर्वेशन लेटर जारी किया गया। ऑब्जर्वेशन लेटर जारी करने के बाद कंपनी को अगले एक वर्ष के भीतर आईपीओ लॉन्च करना जरूरी है।
बेंगलुरु स्थित टेक्नोलॉजी सॉल्यूशन कंपनी ने इस साल 5 सितंबर को सेबी के पास ड्राफ्ट पेपर्स दाखिल किया है। इसमें फ्रेश इश्यू कंपोनेंट नहीं हैं और आईपीओ में मौजूदा शेयरधारकों द्वारा 1.87 करोड़ इक्विटी शेयरों की बिक्री OFS के जरिए की जाएगी। प्रमोटरों के पास आईवैल्यू में 38.67 फीसदी हिस्सेदारी है और 61.33 फीसदी शेयर सुंदरा (मॉरीशस) सहित पब्लिक शेयरहोल्डर्स के स्वामित्व में हैं।
इलेक्ट्रिक टू-व्हीलर कंपनी ने महाराष्ट्र में E2W फैक्ट्री की स्थापना और कर्ज में कमी के लिए फंड जुटाने के इरादे से 9 सितंबर को ड्राफ्ट पेपर दाखिल किए थे। आईपीओ में 3100 करोड़ रुपये के फ्रेश इक्विटी शेयर जारी होंगे। वहीं, प्रमोटरों और निवेशकों द्वारा 2.2 करोड़ इक्विटी शेयरों की बिक्री OFS के जरिए की जाएगी।
सितंबर में मनीकंट्रोल की रिपोर्ट के अनुसार आईपीओ का साइज लगभग 4500 करोड़ रुपये हो सकता है। अगर आईपीओ लॉन्च होता है, तो एथर एनर्जी अपनी कंपटीटर ओला इलेक्ट्रिक मोबिलिटी के बाद शेयर बाजार में लिस्ट होने वाली दूसरी कंपनी होगी।
प्रमोटर तरुण संजय मेहता और स्वप्निल बबनलाल जैन 10-10 लाख शेयर बेचेंगे, जबकि शेष शेयर कैलेडियम इन्वेस्टमेंट, नेशनल इन्वेस्टमेंट एंड इंफ्रास्ट्रक्चर फंड, इंटरनेट फंड, 3स्टेट वेंचर्स, आईआईटीएम इनक्यूबेशन सेल और आईआईटीएमएस रूरल टेक्नोलॉजी जैसे निवेशकों द्वारा बेचे जाएंगे।
सोलर एनर्जी से चलने वाले और ग्रिड कनेक्टेड सबमर्सिबल और मोनोब्लॉक पंप और इलेक्ट्रिक मोटर बनाने वाली हरियाणा स्थित कंपनी ने 17 सितंबर को अपने आईपीओ के लिए सेबी के पास ड्राफ्ट रेड हेरिंग प्रॉस्पेक्टस दाखिल किया था। इसमें 1000 करोड़ रुपये के नए इक्विटी शेयर जारी किए जाएंगे और प्रमोटर विवेक गुप्ता द्वारा 1.13 करोड़ इक्विटी शेयरों की OFS में की जाएगी।
टर्नकी सोलर पंपिंग सिस्टम प्रोवाइड करने वाली कंपनी नए इश्यू से प्राप्त आय का उपयोग कैपेक्स और हरियाणा के करनाल में नई मैन्युफैक्चरिंग यूनिट्स की स्थापना के लिए करेगी। इसके अलावा, यह आईपीओ फंड के माध्यम से कर्ज चुकाएगी और शेष राशि का उपयोग सामान्य कॉर्पोरेट उद्देश्यों के लिए किया जाएगा।
Quality Power Electrical Equipments IPO
हाई वोल्टेज इलेक्ट्रिकल इक्विपमेंट और सॉल्यूशन प्रोवाइडर ने 16 सितंबर को सेबी के पास ड्राफ्ट पेपर दाखिल किए थे। कंपनी का 100 फीसदी स्वामित्व पांडियन परिवार के पास है। क्वालिटी पावर इलेक्ट्रिकल इक्विपमेंट्स के आईपीओ में 225 करोड़ रुपये के नए शेयर जारी होंगे। इसके अलावा, प्रमोटर चित्रा पांडियन द्वारा 1.2 करोड़ इक्विटी शेयरों की बिक्री OFS के जरिए की जाएगी।
फैबटेक टेक्नोलॉजीज ने इस साल 14 सितंबर को अपने आईपीओ के लिए सेबी के पास कागजात दाखिल किए थे। कंपनी फार्मास्यूटिकल्स, बायोटेक और हेल्थकेयर इंडस्ट्री के लिए टर्नकी इंजीनियरिंग सॉल्यूशन प्रोवाइड करती है। इस आईपीओ में 1.20 करोड़ फ्रेश शेयर जारी होंगे। यह रजिस्ट्रार ऑफ कंपनीज के साथ रेड हेरिंग प्रॉस्पेक्टस भरने से पहले प्री-आईपीओ राउंड के माध्यम से 10 करोड़ रुपये तक जुटा सकता है।
कंपनी आईपीओ से प्राप्त राशि का उपयोग अपनी वर्किंग कैपिटल जरूरतों, अधिग्रहणों के माध्यम से इनऑर्गेनिक ग्रोथ इनिशिएटिव और सामान्य कॉर्पोरेट उद्देश्यों के लिए करना चाहती है।
श्लॉस बैंगलोर ने इस साल 20 सितंबर को 5000 करोड़ रुपये जुटाने के लिए अपने आईपीओ पेपर दाखिल किए थे। यह इन छह कंपनियों में सबसे बड़ा पब्लिक इश्यू है। कंपनी द लीला ब्रांड के तहत महलों, होटलों और रिसॉर्ट्स का संचालन करती है।
लग्जरी हॉस्पिटैलिटी चेन ने फ्रेश इश्यू के जरिए 3000 करोड़ रुपये और ऑफर-फॉर-सेल के जरिए 2000 करोड़ रुपये जुटाने की योजना बनाई है। प्रमोटर प्रोजेक्ट बैलेट बैंगलोर होल्डिंग्स (DIFC) ऑफर-फॉर-सेल में सेलिंग शेयरहोल्डर है। यह 600 करोड़ रुपये के प्री-IPO राउंड के प्रेफरेंशियल ऑफर पर विचार कर सकती है।
श्लॉस बैंगलोर का मुकाबला इंडियन होटल्स, EIH, शैलेट होटल्स और जुनिपर होटल्स जैसे लिस्टेड पियर्स के साथ होगा। कंपनी कर्ज चुकाने के लिए फ्रेश इश्यू आय में से 2700 करोड़ रुपये का उपयोग करेगी। शेष फ्रेश इश्यू फंड का उपयोग सामान्य कॉर्पोरेट उद्देश्यों के लिए किया जाएगा, जबकि ऑफर-फॉर-सेल आय प्रमोटर को जाएगी।
डिस्क्लेमर: यहां मुहैया जानकारी सिर्फ सूचना हेतु दी जा रही है। यहां बताना जरूरी है कि मार्केट में निवेश बाजार जोखिमों के अधीन है। निवेशक के तौर पर पैसा लगाने से पहले हमेशा एक्सपर्ट से सलाह लें। हमारी तरफ से किसी को भी पैसा लगाने की यहां कभी भी सलाह नहीं दी जाती है।