अगला एक से डेढ़ महीना शेयर बाजार के लिए काफी अहम रहने वाला है। विदेशी निवेशक जो पैसा लगाते हैं यानी FII वो क्रिसमस औऱ नए साल की लंबी छुट्टियों पर अभी से जाना शुरू कर देंगे। छुट्टियों पर जाने से पहले इन FII ने एक अच्छा काम ये किया है कि खतरनाक तरीके से भारतीय बाजार से पैसा निकालना जो शुरू किया था उसे मोटा मोटी रोक दिया है। अब जब FII छुट्टियों से वापस आएंगे तो दो बड़ी घटना हो रही होगी। नया साल आते ही USमें डोनल ट्रंप सत्ता संभाल रहें होंगे। और दूसरी तरफ भारत वित्त मंत्री साहिबा बजट पेश कर रही होंगी। ऐसे में अभी से बाजार का रुख कैसा रहने वाला है। यहां इसी की बात होगी। लेकिन सबसे पहले बात कर लेते हैं एल्गो ट्रेडिंग की।
रिटेल ट्रेडर्स के लिए एल्गो ट्रेडिंग का ड्राफ्ट जारी
रिटेल ट्रेडर्स के लिए एल्गो ट्रेडिंग का ड्राफ्ट जारी हो गया है। रिटेल ट्रेडर्स के लिए एल्गो ट्रेडिंग का प्लान मंजूर हो गया है। रिटेल ट्रेडर्स के लिए एल्गो ट्रेडिंग के सुझाव मिले थे। इस बात की मांग हो रही थी कि एक्सचेंज और ब्रोकर्स API, एल्गो मुहैया कराएं। एल्गो के जरिए रिटेल बेहतर ट्रेड कर पाएंगे।
रिटेल एल्गो ट्रेडिंग पर SEBI ने पब्लिक कमेंट मांगे हैं।
इस पर बात करते हुए CNBC-आवाज़ के मैनेजिंग एडिटर अनुज सिंघल ने कहा कि जब फ्यूचर्स एंड ऑप्शन पहली बार आए थे तब भी तमाम संदेह रहे होंगें। एल्गो ट्रेडिंग को लेकर भी इसी तरह के संदेह है। लेकिन सेबी का ये कदम अच्छा है। क्योंकि यहां पर लेवल प्लेइंग फील्ड की जरूरत है। इस बात को ध्यान में रखने की जरूरत है कि जिस तरह के बड़े एल्गो बड़े ट्रेडर फायर करते हैं, जिनको वेपन्स ऑफ मॉस डिस्ट्र्क्शन भी कहा जाता है, वे अभी भी रिटेल ट्रेडरों के हाथ में नहीं आएंगे। रिटेल के लिए यहां पर दूसरे तरीके के एल्गोज की बात हो रही है। लेकिन जो भी है ये एक अच्छा कदम है। अभी तो राय मांगी गई है उसके बाद फाइनल प्रोडक्टस आएंगे। लेकिन इसकी रिटेल निवेशकों को जरूरत है। ये सही है कि एल्गो शेयर मार्केट का फ्यूचर है। एल्गो मार्केट में है और कोई इसको बदल भी नहीं सकता। स्ट्रैटजी भी इसी के हिसाब से बदलेगी। ऐसे में अगर हमको एल्गो सीखना पड़े, इसके जरिए पैसा बनाना हो तो थोड़ा बहुत तो इसके बारे में जानना ही होगा। हर किसी को इसको स्वीकार करना ही होगा।
बाजार पर बात करते हुए अनुज ने कहा कि बाजार में एक बड़ी गिरावट के बाद एक रैली आई। उसके बाद ये रैली 24800 पर थम गई। फिर वहां से बाजार गिरना शुरु हुए 13 दिसंबर के कारोबारी सत्र में तो निफ्टी एक बार 24200 तक गिर गया। वहां से फिर निफ्टी उसी दिन 24800 पर बंद हुआ। 13 दिसंबर का वोलैटिलिटी बहुत जबरदस्त थी। सामान्य तौर पर इस तरह की वोलैटिलिटी ट्रेंड चेंज के आसपास आती है। इसमें बड़ा सवाल ये है कि असल ट्रेंड था क्या? लेकिन जो भी हो एक बात तो तय है कि 23200 पर बाजार में बॉटम तो करीब-करीब बन चुका है। अब अगर निफ्टी 24800-25000 के ऊपर निकल कर क्लोज होता है तो एक बार फिर मार्केट ऑल टाइम हाई की ओर बढ़ेगा। अनुज ने आगे कहा कि बैंक निफ्टी तो इसी महीने ऑलटाइम हाई लगाएगा।
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