मिड और स्मॉलकैप इंडेक्सों ने लगातार दूसरे हफ्ते अपने बेंचमार्क की तुलना में बेहतर प्रदर्शन जारी रखा। जबकि बेंचमार्क सूचकांकों को जारी भू-राजनीतिक तनावों और चीन द्वारा और प्रोत्साहन उपायों की उम्मीद के चलते विदेशी संस्थागत निवेशकों (एफआईआई) द्वारा हुई भारी बिकवाली के कारण दबाव का सामना करना पड़ा। बीएसई सेंसेक्स 307.09 अंक या 0.37 फीसदी की गिरावट के साथ 81,381.36 पर बंद हुआ, जबकि निफ्टी 50.3 अंक या 0.20 फीसदी की गिरावट के साथ 24,964.30 पर बंद हुआ। ब्रॉडर मार्केट में, बीएसई स्मॉल-कैप और मिड-कैप इंडेक्सों में 1-1 फीसदी की बढ़त हुई, जबकि लार्ज-कैप इंडेक्स काफी हद तक सपाट रहा।
सेक्टरवार प्रदर्शन मिलाजुला रहा। निफ़्टी फार्मा और ऑटो इंडेक्स में 2-2 फीसदी की बढ़त दर्ज की गई, निफ़्टी आईटी इंडेक्स में 1 फीसदी की बढ़त दर्ज की गई, और निफ़्टी रियल्टी इंडेक्स में भी लगभग 1 फीसदी की बढ़त देखने को मिली। इसके विपरीत, निफ़्टी FMCG इंडेक्स में 2 फीसदी की गिरावट आई, जबकि निफ़्टी मेटल और PSU बैंक इंडेक्स में 1.5 फीसदी की गिरावट दर्ज की गई।
विदेशी संस्थागत निवेशकों ने अपनी बिकवाली का सिलसिला जारी रखते हुए सप्ताह के दौरान 27,674.99 करोड़ रुपये के शेयर बेचे। हालांकि, घरेलू संस्थागत निवेशक शुद्ध खरीदार बने रहे और उन्होंने 31,363.61 करोड़ रुपये के शेयर खरीदे।
बीएसई स्मॉलकैप इंडेक्स में 1 फीसदी की बढ़त हुई, जिसमें धनी सर्विसेज, उषा मार्टिन, त्रिवेणी टर्बाइन, न्यूलैंड लैबोरेटरीज, सस्केन टेक्नोलॉजीज, क्विक हील टेक्नोलॉजीज, श्री रायलसीमा हाई-स्ट्रेंथ हाइप, ट्रांसफॉर्मर्स एंड रेक्टीफायर्स इंडिया, सैट इंडस्ट्रीज, सुदर्शन केमिकल इंडस्ट्रीज, जयप्रकाश एसोसिएट्स, टिप्स म्यूजिक, दीप इंडस्ट्रीज 15-28 फीसदी के बीच बढ़कर बंद हुए।
दूसरी ओर, ट्रूकैप फाइनेंस, रिलायंस पावर, लांसर कंटेनर्स लाइन्स, इंडो अमाइंस, पैसालो डिजिटल, रिफेक्स इंडस्ट्रीज, जैगल प्रीपेड ओशन सर्विसेज, आईटीडी सीमेंटेशन इंडिया, फेज थ्री, बटरफ्लाई गांधीमथी अप्लायंसेज, हिंदुस्तान ऑयल एक्सप्लोरेशन कंपनी, सीक्वेंट साइंटिफिक के शेयरों में 8-17 फीसदी तक की गिरावट आई।
अगले हफ्ते कैसी रह सकती है बाजार की चाल
एचडीएफसी सिक्योरिटीज के नागराज शेट्टी का कहना है कि वीकली चार्ट पर निफ्टी ने अपर और लोअर शैडो के साथ एक स्मॉल निगेटिव कैंडल बनाई, जिसने एक हाई वेव जैसे कैंडलिस्टिक पैटर्न के गठन का संकेत दिया। पिछले सप्ताह की तेज गिरावट के बाद इस सप्ताह थोड़ी कम बिकवाली हुई। यह बुल्स की वापसी के लिए राहत की सांस हो सकती है। निफ्टी का अंतर्निहित रुझान वैलेटाइल बना हुआ है। उन्होंने आगे कहा कि 24500 के स्तर के आसपास स्थित बड़े सपोर्ट के पास टिके रहने के बाद यहां से या निचले सपोर्ट से बाजार में उछाल की अधिक संभावना है। निफ्टी के लिए 25250 पर तत्काल रजिस्टेंस दिख रहा है।
कोटक सिक्योरिटीज के अमोल अठावले का कहना है कि जल्द ही 50-डे एसएमए (सिंपल मूविंग एवरेज) या 25050/81900 एक अहम लेवल के रूप में कार्य करेगा। अगर बाजार इस लेवल से ऊपर कारोबार करने में सफल होता है, तो यह 25250 -25400/82500-83000 तक बढ़ सकता है। दूसरी ओर, जब तक यह इस लेवल से नीचे कारोबार कर रहा है, तब तक कमजोरी की भावना जारी रहने की संभावना है। ऐसे में बाजार 24700/80700 के स्तर फिर से छू सकता है। आगे भी गिरावट जारी रह सकती है जो सूचकांकों को 24550/80200 तक खींच सकती है।
बैंक निफ्टी के लिए, 50-डे एसएमए या 51500 का स्तर ट्रेंड डिसाइडर लेवल होगी। इसके ऊपर जाने पर यह 52000-52300 तक वापस उछल सकता है। दूसरी ओर, 50900 से नीचे जाने पर यह 50500-50250 तक फिसल सकता है।
मेहता इक्विटीज के प्रशांत तापसे का कहना है कि सप्ताह के अंतिम कारोबारी दिन निवेशकों ने सावधानी बरती। वीकेंड में ईरान-इजराइल संघर्ष में किसी भी तरह की तेजी से अगले सप्ताह अनिश्चितता बढ़ सकती है।
शेयरखान के जतिन गेडिया का कहना है कि पिछले तीन कारोबारी सत्रों से निफ्टी 25250 – 24900 के दायरे में कंसोलीडेट हो रहा है। उम्मीद है कि यह कंसोलीडेशन ऊपर की ओर टूटेगा और शॉर्ट टर्म में निफ्टी 25350 – 25500 की ओर बढ़ता दिखेगा। वहीं, इसके 24800 से नीचे जाने पर कमजोरी बढ़ सकती है।
बैंक शेयरों पर बात करते हुए जतिन ने कहा कि बैंक निफ्टी पिछले तीन कारोबारी सत्रों से 50900 – 51500 के दायरे में कंसोलीडेट हो रहा है। हमें उम्मीद है कि यह कंसोलीडेशन ऊपर की ओर टूटेगा और शॉर्ट टर्म में निफ्टी 52000 की ओर बढ़ता नजर आएगा।
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