ओपन-एंडेड इक्विटी म्यूचुअल फंडों में निवेश सितंबर में घटा है। एसोसिएशन ऑफ म्यूचुअल फंड्स ऑफ इंडिया (एंफी) के डेटा से यह जानकारी मिली है। इसके मुताबिक, ओपन-एंडेड इक्विटी म्यूचुअल फंड की स्कीमों में सितंबर में निवेश 10 फीसदी घटकर 34,419 करोड़ रुपये रहा। यह अगस्त में निवेश के मुकाबले 10 फीसदी कम है। एंफी म्यूचुअल फंड इंडस्ट्री का प्रतिनिधित्व करने वाली संस्था है। उसने यह डेटा 10 अक्टूबर को जारी किया।
एंफी के डेटा के मुताबिक, सितंबर में लगातार 43वें महीने ओपन-एंडेड इक्विटी फंडों में निवेश पॉजिटिव बना रहा। ओपन-एंडेड इक्विटी म्यूचुअल फंड का मतलब ऐसी स्कीमों से है, जिनमें किसी समय निवेश किया जा सकता है और किसी समय पैसे निकाले जा सकते हैं। सितंबर में ओपन-एंडेड इक्विटी म्यूचुअल फंडों में तब गिरावट आई है, जब सितंबर में स्टॉक मार्केट्स का प्रदर्शन काफी अच्छा रहा। सितंबर के आखिर से बाजार का सेंटिमेंट बदलने लगा था।
सितंबर में सेंसेक्स में 2.4 फीसदी की तेजी आई, जबकि निफ्टी 2.3 फीसदी चढ़ा। जुलाई के बाद सितंबर में स्टॉक मार्केट्स के प्रमुख सूचकांकों में सबसे ज्यादा तेजी देखने को मिली। हालांकि, म्यूचुअल फंडों की स्कीमों सिप से निवेश के लिहाज से सितंबर का महीना अच्छा रहा। इस दौरान सिप से होने वाला मंथली निवेश बढ़कर 24,508.73 करोड़ रुपये पर पहुंच गया, जो एक रिकॉर्ड है। इसके मुकाबले अगस्त में सिप से 23,547.34 करोड़ रुपये का निवेश आया था।
सितंबर में SIP का एसेट अंडर मैनेजमेंट (AUM) भी बढ़कर 13.82 लाख करोड़ रुपये की रिकॉर्ड ऊंचाई पर पहुंच गया। अगस्त में यह 13.39 लाख करोड़ रुपये था। एंफी के सीईओ वेंकट चलासानी ने कहा कि यूनिक इनवेस्टर्स की संख्या 5,01,22,609 करोड़ हो गई है, जो म्यूचुअल फंड इंडस्ट्री के लिए फक्र की बात है। फोलियो की कुल संख्या 21 करोड़ के पार पहुंच गई है। इसमें एसेट मैनेजमेंट कंपनियों और डिस्ट्रिब्यूटर्स का बड़ा हाथ है। उन्होंने फाइनेंशियल अवेयरनेस बढ़ाने की काफी कोशिश की है।