भारत सरकार ने पेट्रोलियम क्रूड पर विंडफॉल टैक्स 6,000 रुपये प्रति मेट्रिक टन से बढ़ाकर 7,000 मेट्रिक टन कर दिया है। सरकार की तरफ से 15 जुलाई को जारी नोटिफिकेशन के मुताबिक, यह बढ़ोतरी 16 जुलाई से लागू होगी। इससे पहले सरकार ने 1 जुलाई को डोमेस्टिक क्रू़ड ऑयल पर विंडफॉल टैक्स बढ़ाकर 6,000 रुपये कर दिया था।
भारत ने सबसे पहले 1 जुलाई 2022 को विंडफॉल टैक्स लगाया था। इसके साथ ही, यह उन देशों में शामिल हो गया था, जो एनर्जी कंपनियों के सुपरनॉर्मल प्रॉफिट पर टैक्स लगाते हैं। हर 15 दिनों पर टैक्स रेट की समीक्षा की जाती है।
यह समीक्षा पिछले दो हफ्तों के दौरान तेल की औसत कीमतों के आधार पर की जाती है। इसी तरह डीजल, पेट्रोल और विमानन ईंधन के निर्यात पर भी ड्यूटी लगाई गई थी। कई प्राइवेट रिफाइनर कंपनियां ज्यादा मार्जिन कमाने के लिए डीजल, पेट्रोल और एटीएफ की घरेलू बाजार में बिक्री न कर उनका निर्यात कर रही थीं। विंडफॉल टैक्स भी निर्यात पर लगने वाला एक तरह का टैक्स है।
क्रूड ऑयल पर विंडफॉल टैक्स लगाने के बाद कई लोगों के मन में सवाल आता है कि क्या इसका असर फ्यूल प्राइस यानी पेट्रोल-डीजल पर भी पड़ेगा। इसका जवाब है नहीं। विंडफॉल टैक्स का असर पेट्रोल-डीजल की कीमतों पर नहीं पड़ता है।