अंग्रेजी की कहावत है ‘मनी सेव्ड इज मनी अर्न्ड’ यानि पैसा बनाना है तो पहले पैसा बचाना सीखिए। चुनावी नतीजों के बीच बाजार भरभराकर गिर पड़ा है और अगर इस दौरान भी आप पैसा बनाना चाहते हैं तो पहले आपको पैसा बचाने पर फोकस करना चाहिए। इसके अलावा गिरता बाजार हमेशा निवेशकों को एंट्री का अच्छा मौका देता है। तो कुछ ऐसी चीजें हैं जिन्हें करके आप पैसा बचा भी सकते हैं और अच्छा पैसा बना भी सकते हैं। जाहिर तौर पर यहां रातो-रात पैसा नहीं बनेगा, लेकिन थोड़ा सब्र रखते हुए आप इससे अच्छी कमाई कर सकते हैं। जानिए वो पांच काम जो मार्केट के रिकवरी करने से पहले आपको करने पर फोकस करते रहना चाहिए।
1. भूलकर भी ना करें SIP पॉज/लैप्स
गिरते बाजार में अपनी SIP पॉज या डिलीट करने की गलती बिलकुल ना करें। क्योंकि यही सही मौका है जब आप अपनी एसआईपी का सबसे अच्छी तरीके से फायदा उठा सकते हैं। कम NAV में यूनिट्स खरीदने का मौका अपने हाथ से जाने ना दें। क्योंकि इसका फायदा आपको लॉन्ग टर्म में जरूर मिलने वाला है। मार्केट को टाइम कर पाना बहुत मुश्किल काम है, ऐसे में गिरते बाजार में SIP चालू रखकर आप ना सिर्फ अपने गोल्स के लिए की जाने वाली सेविंग को प्रभावित नहीं होने देंगे, बल्कि आपकी सेविंग्स और रिटर्न की संभावना भी पहले से कहीं ज्यादा बढ़ जाएगी। मार्केट आज नहीं तो कल बाउंस बैक करेगा, ऐसे में SIP जारी रखना समझदारी का फैसला है।
2. म्यूचुअल फंड में कर डालिए लंपसम निवेश
अपॉर्चुनिटी मिस ना हो इसके लिए कुछ पैसा बचाकर रखना बहुत अच्छी आदत है। गिरता बाजार ऐसे मौके का फायदा उठाने के लिए बिलकुल ठीक वक्त है। ऐसे में बेहतर है कि आप एक लंपसम अमाउंट अपनी म्यूचुअल फंड होल्डिंग में निवेश कर दें। इस बात से फर्क नहीं पड़ता कि आपके पास स्मॉल कैप फंड है या मिड कैप या फिर कोई इनडेक्स फंड। गिरे हुए मार्केट में लंपसम निवेश आपको लॉन्ग टर्म में फायदा ही देने वाला है। यह ना सिर्फ आपको सस्ती कीमत में यूनिट्स खरीदने का मौका देगा, बल्कि मार्केट की रिकवरी के वक्त अच्छे रिटर्न्स भी देगा।
3. अच्छे स्टॉक्स में बढ़ाएं अपनी होल्डिंग
अगर आपने अपने पोर्टफोलियो में कुछ स्टॉक्स लॉन्ग टर्म होल्डिंग के हिसाब से रखे थे तो यह सही वक्त है जब आप उनके PE को ध्यान में रखते हुए इन शेयरों में अपना निवेश बढ़ा सकते हैं। भविष्य के हिसाब से खरीदी गई कंपनियों के भाव नीचे आने पर उनमें एंट्री का मौका मिस नहीं करना चाहिए। इसके अलावा अगर फ्रेश बाइंग करना चाहते हैं तो फंडामेंटल एनालिसिस करने के बाद कुछ नई कंपनियों में भी निवेश किया जा सकता है। सेफ साइड रहने के लिए आप कुछ अच्छी लार्ज या मिड कैप कंपनियों का चुनाव कर सकते हैं।
4. हड़बड़ी में ना करें अच्छी कंपनियों से एग्जिट
बाजार में डर का माहौल हो तब अपनी बेसिक इंस्टिक्ट को इगनोर करना मुश्किल हो जाता है। ऐसे में कई निवेशक अच्छे स्टॉक्स से भी यह सोचकर एग्जिट कर जाते हैं कि वो इस तरह लॉस घटा सकते हैं। लेकिन अगर आपने पूरी रिसर्च और कनविक्शन के साथ ये स्टॉक खरीदे थे तो आपको अपने फैसले पर भरोसा रखना चाहिए और मार्केट में आने वाले सेंटिमेंटल उतार-चढ़ावों से डरना नहीं चाहिए। किसी कंपनी में आपकी होल्डिंग तब तक लॉस में कनवर्ट नहीं होती है जब तक कंपनी ही घाटे में ना जाने लगे। टेंपरेरी वजहों से होने वाले अप-डाउन की वजह से सेलिंग करके आप अपने लिए लॉस ही बुक करेंगे।
5. ट्रेडिंग से दूर रहें नौसिखिए निवेशक
डिस्काउंट ब्रोकर्स की तादाद पिछले कुछ सालों में तेजी से बढ़ी है। ऐसे में हर तबके का इंसान डीमैट अकाउंट खोलकर ट्रेडिंग शुरू कर रहा है। लेकिन इनमें से ज्यादातर ऐसे हैं जिन्हें ना तो टैक्निकल एनालिसिस की समझ है और ना ही निवेश से पहले फंडामेंडटल एनालिसिस करते हैं। सिर्फ टिप के आधार पर स्टॉक खरीदने वालों को यह बात ध्यान रखनी चाहिए कि इंट्राडे के लिए यह वक्त सही नहीं है। ट्रेडिंग में लॉस की संभावना सबसे ज्यादा होती है यह बात SEBI भी स्टॉक ब्रोकर्स के जरिए निवेशकों तक पहुंचा रहा है। अगर आपने नई-नई ट्रेडिंग सीखी है तो यह चीजों को प्रैक्टिकल करके देखने का सही वक्त नहीं है। इंट्रा डे ट्रेडिंग करने के लिहाज से मार्केट को स्टेबल और अप ट्रेंड में आने का इंतजार करें। ताकि आप अपनी जमापूंजी गंवा ना बैठें।