म्यूचुअल फंड की तीन स्कीमें अभी निवेश के लिए खुली हैं। महिंद्रा मनुलाइफ म्यूचुअल फंड ने महिंद्रा मनुलाइफ मैन्युफैक्चरिंग फंड लॉन्च किया है। बड़ौदा बीएनपी पारिबा म्यूचुअल फंड ने निफ्टी बैंक ईटीएफ लॉन्च किया है। हेलियस म्यूचुअल फंड ने फाइनेंशियल सर्विसेज फंड पेश किया है। हर फंड के टारगेट अलग-अलग सेक्टर हैं। ऐसे में निवेशकों के लिए अपने लिए सही फंड को सेलेक्ट करना का मौका है।
मैन्युफैक्चरिंग कंपनियों में निवेश करेगा यह फंड
महिंद्रा मनुलाइफ मैन्युफैक्चरिंग फंड (Mahindra Manulife Manufacturing Fund) ओपन एंडेड फंड है। यह स्कीम मैन्युफैक्चरिंग कंपनियों के स्टॉक्स और स्टॉक्स से जुड़े सिक्योरिटीज में निवेश करेगी। इस स्कीम का न्यू फंड ऑफर (NFO) 31 मई, 2024 को खुला था। 26 जून के बाद इस स्कीम में एनएवी पर निवेश किया जा सकता है। इस स्कीम ने 80-100 फीसदी पैसा मैन्युफैक्चरिंग से जुड़ी कंपनियों में निवेश करने का प्लान बनाया है। इनमें अलग-अलग मार्केट कैपिटलाइजेशन की कंपनियां शामिल होंगी। सरकार ने मैन्युफैक्चरिंग पर फोकस बढ़ाया है। यह स्कीम ऐसे निवेशकों के लिए ठीक है जो मैन्युफैक्चरिंग थीम पर दांव लगाना चाहते हैं।
बड़ौदा बीएनपी पारिबा का यह फंड बैकिंग स्टॉक्स पर दांव लगाएगा
Baroda BNP Paribas ने निफ्टी बैंक ईटीएफ लॉन्च किया है। यह निफ्टी बैंक टोटल रिटर्न इंडेक्स के प्रदर्शन को ट्रैक करेगा। यह ईटीएफ इंडियन बैंकिंग सेक्टर पर दांव लगाने का मौका देता है। इंडिया की इकोनॉमिक ग्रोथ में बैंकों का बड़ा हाथ है। निफ्टी बैंक इंडेक्स में 12 बड़े बैंक शामिल हैं। इससे बैंकिंग सेक्टर में डायवर्सिफिकेशन के लिहाज से यह फंड अच्छा है। निफ्टी बैंक इंडेक्स का रिटर्न बहुत अच्छा रहा है। इसलिए लंबी अवधि के लिहाज से निवेश करने वाले इनवेस्टर्स के लिए यह अच्छा ईटीएफ है। इसमें निवेश करने पर निवेशकों को लंबी अवधि में अच्छा कैपिटल गेंस हो सकता है।
हेलियस के इस फंड का फोकस फाइनेंशियल सर्विसेज कंपनियों पर होगा
हेलियस म्यूचुअल फंड ने फाइनेंशियल सर्विसेज फंड लॉन्च किया है। यह भी एक ओपन एंडेड स्कीम है। यह स्कीम फाइनेंशियल सर्विसेज की कंपनियों में निवेश करेगी। इस स्कीम के एनएफओ में 14 जून तक निवेश किया जा सकता है। यह भी एक थिमैटिक फंड है। इसका मतलब है कि इसका फोकस फाइनेंशियल सेक्टर पर होगा। देश के इकोनॉमिक डेवलपमेंट में फाइनेंशियल सेक्टर का बड़ा योगदान है।
अपने रिस्क प्रोफाइल और फाइनेंशियल गोल्स के आधार पर करें निवेश
उपर्युक्त तीनों फंडों की अपनी-अपनी खासियतें हैं। निवेशक इन स्कीमों में रिस्क लेने की अपनी क्षमता, रिटर्न की उम्मीद और फाइनेंशियल गोल्स को ध्यान में रख निवेश कर सकते हैं। हालांकि, उन्हें डायवर्सिफिकेशन का ध्यान रखा होगा। अगर पहले से उन्होंने बैंकिंग या फाइनेंशियल कंपनियों पर फोकस वाले फंड में निवेश किया है तो उन्हें दोबारा ऐसे फंड में निवेश नहीं करना चाहिए।