सार्वजनिक क्षेत्र की एनबीएफसी इरेडा लिमिटेड (IREDA Limited) अपनी इक्विटी पूंजी में बढ़ोतरी के लिए इसी वित्त वर्ष में अनुवर्ती सार्वजनिक निर्गम (FPO) लाएगी। अक्षय ऊर्जा मंत्रालय के दायरे में आने वाली एनबीएफसी का इरादा 2024-25 में 24,200 करोड़ रुपये जुटाने का है।
इरेडा का आईपीओ दिसंबर 2023 में आया था और पिछले दशक में दो बार नाकाम कोशिश के बाद वह आखिरकार दलाल पथ पर उतरी थी। इरेडा अभी सार्वजनिक क्षेत्र की एकमात्र एनबीएफसी है जिसका ध्यान सिर्फ हरित ऊर्जा क्षेत्रों पर है।
इरेडा के चेयरमैन व प्रबंध निदेशक पी के दास ने कहा कि हमें लगता है कि हमें और इक्विटी पूंजी की जरूरत पड़ेगी। कर्ज जुटाना हमारे लिए समस्या नहीं है। हरित ऊर्जा में परियोजना का आकार बड़ा होता जा रहा है और हमारा इरादा इस क्षेत्र की वृद्धि को सहारा देने का है। इसके लिए हमें लगता है कि और इक्विटी पूंजी जुटाने के लिए एफपीओ एक रास्ता है। दास ने एफपीओ की रकम का खुलासा नहीं किया लेकिन संकेत दिया कि यह कंपनी और क्षेत्र की वृद्धि के परिदृश्य के मुताबिक होगा।
दास ने कहा कि कंपनी इस वित्त वर्ष में 30,000 करोड़ रुपये से ज्यादा के कर्ज वितरण पर विचार कर रही है। कंपनी ने नियामकीय सूचना में बताया कि 2023-24 के दौरान इरेडा ने 25,089 करोड़ रुपये का कर्ज वितरित किया था।
पिछले महीने इरेडा के बोर्ड ने 2024-25 के लिए 24,200 करोड़ रुपये की उधारी योजना को मंजूरी दी थी। बॉन्ड, परपेचुअल डेट इंस्ट्रूमेंट, सावधि कर्ज, वाणिज्यिक प्रतिभूतियां व बाह्य वाणिज्यिक उधारी के जरिये रकम जुटाई जा सकती है।
कर्ज के मामले में दास ने कहा कि उनका ध्यान देसी बाजार पर रहेगा। सीएमडी ने कहा कि इसमें विस्तार के लिए हमने आयकर अधिनियम 1961 की धारा 54 ईसी के तहत सरकार से पूंजीगत लाभ से छूट वाले बॉन्ड में शामिल करने का अनुरोध किया है। ऊर्जा क्षेत्र में उधार देने वाली उसकी समकक्ष कंपनियां सरकारी स्वामित्व वाली पीएफसी और आरईसी लिमिटेड 54 ईसी में सूचीबद्ध हैं।
दास ने कहा कि भारतीय बॉन्ड बाजार में काफी संभावना है और हमें लगता है कि हम इसका लाभ उठा सकते हैं। हमारा मंत्रालय भी वित्त मंत्रालय से कंपनी को 54ईसी में शामिल करने का अनुरोध करेगा। हमारी कंपनी 100 फीसदी हरित कंपनी है और 54ईसी के लिए उपयुक्त है। इरेडा ने हाल में गिफ्ट सिटी, गुजरात में एक सहायक कंपनी का गठन किया है।
दास ने कहा कि यह उन हरित ऊर्जा क्षेत्रों से जुड़ेगी जिनमें निर्यात की संभावना होगी क्योंकि कंपनी विदेशी मुद्रा में उधारी देने की संभावना भी तलाश रही है।
उन्होंने कहा कि सौर विनिर्माण व हरित हाइड्रोजन विनिर्माण वाला तंत्र उसके दो प्रमुख लक्ष्य हैं। खुदरा क्षेत्रों मसलन सोलर रुफटॉप पर दास ने कहा कि इरेडा अन्य एनबीएफसी या बैंकों के साथ संयुक्त उधारी देगी। इरेडा का नेटवर्थ पिछले वित्त वर्ष में 44.2 फीसदी की बढ़ोतरी के साथ 8,559.43 करोड़ रुपये पर पहुंच गया।