Realty Stocks: पिछले एक साल में रियल्टी शेयरों की जमकर खरीदारी हुई और इसके चलते इसका निफ्टी इंडेक्स Nifty Realty करीब 110 फीसदी उछल गया। एक्सपर्ट्स का मानना है कि रियल एस्टेट की बढ़ती कीमतों और मजबूत मांग से इसे सपोर्ट मिला। रियल्टी कंनियों की बेहतर रेवेन्यू ग्रोथ, हाई मार्जिन और प्रॉफिटेबिलिटी के चलते निवेशकों का सेंटिमेंट भी सुधरा। रियल्टी स्टॉक्स पर फंड मैनेजर्स का भी दिल आया और पिछले तीन महीने में कई स्टॉक्स को एक्टिव तरीके से मैनेज होने वाली इक्विटी स्कीमों से जोड़ दिया। यहां ऐसे ही कुछ स्टॉक्स की डिटेल्स दी जा रही है जिन्हें फंड मैनेजर्स ने अपनी स्कीमों में शामिल किया है। ये आंकड़े ACEMF ने जारी किए हैं 30 अप्रैल 2024 तक के हैं।
इन शेयरों को फंड मैनेजर्स ने रखा अपनी स्कीमों में
पहले लॉर्ज कैप स्टॉक्स की बात करें तो डीएलएफ (DLF) को तीन महीने में 10 एक्टिवली इक्विटी स्कीमों में शामिल किया गया और अब यह 11 एक्टिव स्कीम का हिस्सा है।
अब मिड कैप स्टॉक्स की बात करें तो प्रेस्टिज एस्टेट प्रोजेक्ट्स (Prestige Estates Projects) अब 67 एक्टिव स्कीमों का हिस्सा है जिसमें से 20 में तो यह पिछले तीन महीने में शामिल हुआ। इसके अलावा गोदरेज प्रॉपर्टीज (Godrej Properties) तीन महीने मं 2 स्कीमों से जुड़ा और अब यह 41 एक्टिव इक्विटी स्कीम का हिस्सा है।
अब स्मॉलकैप शेयरों की बात करें तो तीन महीने में टार्क (TARC) 6 स्कीमों का हिस्सा बना और अब यह 7 एक्टिव इक्विटी स्कीमों का हिस्सा है। पूर्वांकर (Puravankara) 3 स्कीमों का हिस्सा बना। सनटेक रियल्टी (Sunteck Realty) अब 10 एक्टिव इक्विटी स्कीमों का हिस्सा है जिसमें से 3 में तो पिछले तीन महीने में शामिल हुआ। कोल्टे-पाटिल डेवलपर्स पर दो और स्कीमों ने भरोसा जताया और अब यह 8 एक्टिव इक्विटी स्कीमों के पोर्टफोलियो में है। सोभा (Sobha) तीन महीने में 2 और स्कीमों का हिस्सा बना और अब यह 55 एक्टिव इक्विटी स्कीमों के पोर्टफोलियो में है तो अनंत राज (Anant Raj) भी एक एक्टिव इक्विटी स्कीम में शामिल हुआ और अब यह 8 एक्टिव स्कीमों का हिस्सा है।
Realty Stocks में क्यों दिखा दम और आगे क्या है रुझान
ब्रोकरेज फर्म एचडीएफसी सिक्योरिटीज के हेड (रिटेल रिसर्च) दीपक जासानी का कहना है कि अफोर्डेबिलिटी बढञने और स्थायी ब्याज दरों मं आने के चलते घरों की बिक्री में इजाफा हुआ है। टाउनशिप और सेटलमेंट्स के लिए 100 फीसदी तक के एफडीआई को मंजूरी और पीएम आवास योजना पर सरकारी फोकस ने भी रियल्टी सेक्टर को सपोर्ट किया है। भारतीय रियल एस्टेट सेक्टर में पिछले कुछ वर्षों से भारी-भरकम निजी निवेश आ रहा है। हालांकि दीपक ने सतर्क किया है कि ऑफिसों और घरों की मांग अभी भी पूरी नहीं हुई है। ऐसे में उनका मानना है कि रियल्टी इंडेक्स की स्पीड अब सुस्त हो सकती है औ इसमें थोड़े समय के लिए गिरावट भी दिख सकती है।